कांग्रेस के राष्ट्रीय महासचिव रणदीप सिंह सुरजेवाला ने अपने विवादित बयान को लेकर चौतरफा घिर चुके हैं। सुरजेवाला ने रविवार को कैथल में एक जनसभा को संबोधित करते हुए कहा कि भाजपा-जजपा गठबंधन की सरकार, भाजपा समर्थक और भाजपा को वोट देने वाले राक्षसी प्रवृत्ति के लोग हैं। उनके इस बयान पर सियासत तेज हो गई है। वहीं, अब सुरजेवाला ने ट्विटर के माध्यम से अपने बयान पर सफाई दी है।
रणदीप सुरजेवाला ने कहा, “मेरे नजरिये में हिंसा और अन्याय राक्षस प्रवर्ती का कार्य है। भाजपा के पौने नौ साल के कुशासन में देश का सबसे शांत प्रदेश हरियाणा तीन बार हिंसा का तांडव देख चुका है। आजादी के बाद पहली बार भाजपा सरकार में दो बार जातीय दंगे हुए, दर्जनों निर्दोष पुलिस की गोलियों से मारे गए और फिर पंचकुला में जो गोली बारी हुई और लोग मारे गए, वो गोली कांड आज भी रोंगटे खड़े कर देता है। क्या ये सब कुकृत्य देवीय: स्वरूप हैं?”
सुरजेवाला ने आगे लिखा, “नूंह में हिंसा फैलाने की साजिश हरियाणा की जनता ने समझदारी दिखाकर असफल कर दी अन्यथा चौथी बार भी हरियाणा रक्तरंजित हो जाता। इनकी हिंसा की प्यास यहीं नहीं बुझी तो तीन काले कानून लाकर हमारे खेत-खलिहान छीनने की साजिश कर डाली। जब भाजपा-जजपा सरकार लाखों किसानों के रास्ते में कील और नश्तर बिछा रही थी तो न्याय के लिए सिसकते, धरती मां को काले कानूनों की बेड़ियों से छुड़वाते, हमारे 800 मेहनतकश किसान भाई अपनी जान दे, खुद को बलिदान कर इनसे लोहा ले रहे थे। तो इन्हें क्या कहा जाए?”
उन्होंने बीजेपी-जेजेपी पर निशाना साधते हुए कहा कि ये लोग शब्दों को पकड़कर मुद्दों की हत्या करना चाहते हैं। उन्होंने कहा, “ये सरकार निरन्तर अपनी असफलताओं को भावनात्मक मुद्दों के पीछे छुपाना चाहती है। तिल को ताड़ बनाकर पेश करने वाले सिद्धहस्त सत्तारूढ़ कलहकारों और उनके मित्र मुट्ठी भर TV चैनलों को प्रदेश के पीड़ित शिक्षित और उपेक्षित युवाओं को रोजगार व न्याय देने पर ज़ोर देना चाहिए, रोज़ाना की घिसी-पिटी लफ़्फ़ाज़ी पर नहीं !”